बाजार में बिक रहे हैंड सैनिटाइजर कितने सुरक्षित हैं? जानिए

बाजार में बिक रहे हैंड सैनिटाइजर कितने सुरक्षित हैं? जानिए

सेहतराग टीम

कंस्यूमर गाइडेंस सोसाइटी ऑफ इंडिया, जो कि देश की सबसे पुरानी ग्राहक सेवा संस्था है। इस संस्था ने हैंड सैनिटाइजर को लेकर एक अध्ययन किया, जिसमें उन्होंने मुम्बई और ठाणे में 122 हैंड सैनिटाइजर टेस्ट किए जिसमें 50 प्रतिशत हैंड सैनिटाइजर मिलावटी निकले। जिनमें 4 प्रतिशत ऐसे हैंड सैनिटाइजर थे जिसमें जहरीला केमिकल मेथनॉल था। इसके बहुत बुरे प्रभाव हो सकते हैं, यह ऑप्टिक तंत्रिका को नुकसान पहुंचा सकता है, जिससे अंधापन हो सकता है।

विडियो देखें- सावधान! CGSI के अध्ययन में 122 सैनिटाइजर में लगभग 50 फीसदी पाए गए मिलावटी

इसकी रिपोर्ट एक वेबिनार के माध्यम से जारी की गई। रिपोर्ट से पता चलता है कि सैनिटाइजर के ख़रीदे गए सैंपल में 37 फीसदी सैनिटाइजर में अल्कोहल की मात्रा लेबल में दिए गए निर्देशों से मेल नहीं खाती, 10 प्रतिशत ऐसे थे जो बिना किसी दावे के बेचे गए और उनमें से एक 'प्रीमियम रोज सैनिटाइजर' (Premium Rose Sanitiser) किसी भी वायरस के खिलाफ पूरी तरह से अप्रभावी था।

सीजीएसआई सेक्रेटरी डॉ. एमएस कामथ कहते हैं कि मिलावटी हैंड सैनिटाइजर वह होता है जो इसके लेबल में दिए गए निर्देशों का पालन नहीं करता है। सैनिटाइजर बनाने वालों ने जल्दी पैसा बनाने और महामारी की स्थिति के डर का फायदा उठाने के लिए इस बिजनेस को कर रहे हैं।

CGIS की प्रेस रिलीज़ हुई-

स्टडी के अनुसार, 5 हैंड सैनिटाइजर जो मेथनॉल से बने  हैं, वो इंस्टेंट हैंड सैनिटजर हैं। इथेनॉल, जो सैनिटाइटर में उपयोग किया जाता है, इसे बिना शराब के परमिट के खरीद नहीं सकते हैं। सिंथेटिक अल्कोहल बहुत महंगी होती है और इसलिए कुछ निर्माता एथिल अल्कोहल काप्रयोग करने से बचते हैं और इसके बदले जहरीली मेथनॉल अल्कोहल का उपयोग करते हैं, जो अमूमन आधे दाम पर मिल जाती है। इसके अलावा गैर-उत्पादक निर्माता नकली मेथनॉल बेस्ड सैनिटाइजर को बाजार में बेचने के लिए ब्रांडेड पैकिंग का प्रयोग करते हैं।

ऑर्गनाइजेशन ने इस महीने एक मान्यता प्राप्त प्रयोगशाला में "गैस क्रोमैटोग्राफी" परीक्षण किया। एपिडेमीओलॉजिस्ट्स यानी महामारी विशेषज्ञ भी कहते हैं कि सैनिटाइजर का उपयोग तब ही करें जब साबुन-पानी या कोई अन्य विकल्प उपलब्ध न हो और ऐसे सैनिटाइजर ही प्रभावी होते हैं जिनमें कम से कम 60 प्रतिशत अल्कोहल या उससे अधिक है।

लेबल की जांच करें-

प्रेस रिलीज़ में आगे कह गया कि, कंस्यूमर यह जरूर ध्यान रखें कि वे लेबल में दी गयी निर्धारित चेतावनी निर्देशों का पालन करें। ड्रग फैक्ट लेबल में प्रोडक्ट की सामग्री के बारे में जानकारी दी जानी चाहिए। सुरक्षा के लिए प्रोडक्ट खरीदते समय ओवर ऑल द काउंटर इसके बनने की तारीख और एक्सपायरी डेट चेक जरूर करनी चाहिए। सैनिटाइजर को ठंडी जगह रखें और बच्चों की पहुंच से दूर रखें, क्योंकि किसी भी प्रकार से शरीर के अंदर जाने पर अल्कोहल जहर बन सकती है। याद रखें कि बिना अल्कोहल वाले हैंड सैनिटाइजर कोरोना वायरस के खिलाफ प्रभावी नहीं होते हैं।

 

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